Ayushman Scheme: मोदी सरकार की आयुष्मान भारत योजना में बड़ा फर्जीवाड़ा सामने आया है। राष्ट्रीय धोखाधड़ी विरोधी इकाई (NAFU) की जांच में 562 करोड़ रुपये के 2.7 लाख फर्जी क्लेम का खुलासा हुआ है, जो प्राइवेट अस्पतालों द्वारा किए गए थे।
Ayushman Scheme: फर्जी क्लेम पर कड़ी कार्रवाई
सरकार ने इस घोटाले पर सख्त कदम उठाते हुए:
✅ 1,114 अस्पतालों को योजना से बाहर किया
✅ 549 अस्पतालों को निलंबित किया
✅ डेस्क और फील्ड ऑडिट बढ़ाए गए
आयुष्मान भारत योजना: किसे मिलता है लाभ?
👉 12.37 करोड़ गरीब परिवारों के 55 करोड़ लोगों को 5 लाख रुपये तक का स्वास्थ्य कवर मिलता है।
👉 हाल ही में 6 करोड़ वरिष्ठ नागरिकों को भी “वय वंदना कार्ड” के तहत जोड़ा गया।
किन राज्यों में सबसे ज्यादा फर्जी क्लेम?
सरकार ने 6.50 करोड़ दावों की जांच की, जिसमें से सबसे ज्यादा फर्जीवाड़ा उत्तर प्रदेश (यूपी) में हुआ:
📌 उत्तर प्रदेश – ₹13.90 करोड़
📌 पंजाब – ₹2.87 करोड़
📌 उत्तराखंड – ₹1.57 करोड़
📌 मध्य प्रदेश – ₹11.93 करोड़
📌 छत्तीसगढ़ – ₹12 करोड़
घोटाले पर सरकार की सख्ती
सरकार अब योजना की सख्त निगरानी कर रही है:
🔹 फर्जी बिल बनाने वाले अस्पतालों पर केस दर्ज
🔹 ऑडिट और जांच की प्रक्रिया तेज
🔹 धोखाधड़ी करने वालों पर भारी जुर्माना और ब्लैकलिस्टिंग
क्या है आगे की रणनीति?
आयुष्मान भारत योजना का मकसद गरीबों को मुफ्त इलाज देना है, लेकिन फर्जी क्लेम ने इसे धक्का पहुंचाया है। अब सरकार इस पर ज़ीरो टॉलरेंस नीति अपना रही है ताकि भविष्य में इस तरह की गड़बड़ी न हो।
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